Ballia News: अजय तिवारी खुद पहुंचे बलिया पुलिस कार्यालय, बोले- अपहरण नहीं, पारिवारिक विवाद से था परेशान

बलिया। पिछले आठ दिनों से लापता और अपहृत माने जा रहे अजय कुमार तिवारी सोमवार को अचानक बलिया पुलिस कार्यालय पहुंच गए। उन्होंने पुलिस को बताया कि उनका अपहरण नहीं हुआ था, बल्कि पारिवारिक विवाद से परेशान होकर वे स्वयं घर से चले गए थे।

पुलिस के अनुसार, सुखपुरा थाना क्षेत्र के रहने वाले अजय तिवारी की गुमशुदगी को लेकर 4 मई 2025 को अपहरण का मुकदमा दर्ज किया गया था। इस मामले में चंद्रमा यादव सहित अन्य के खिलाफ बीएनएस की विभिन्न धाराओं में केस पंजीकृत हुआ था। पुलिस अधीक्षक ओमवीर सिंह के निर्देश पर अजय तिवारी की बरामदगी के लिए कई टीमों का गठन किया गया था और जगह-जगह सीसीटीवी फुटेज व इलेक्ट्रॉनिक माध्यमों से तलाश की जा रही थी।

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12 मई की शाम अजय तिवारी खुद पुलिस कार्यालय पहुंचे और स्पष्ट किया कि उन्हें किसी ने अगवा नहीं किया था। उन्होंने बताया कि 30 अप्रैल को अपने बेटे महामृत्युंजय तिवारी और परिजनों के साथ मारपीट की घटना से वे काफी आहत थे। गांव के ही विपक्षियों से चल रहे विवाद के चलते वे मानसिक रूप से परेशान थे और 3/4 मई की रात को अपनी पत्नी को सूचित कर घर से निकल गए थे।

तिवारी ने बताया कि वे पैदल ही खेतों और गंगा किनारे होते हुए जमनिया-चंदौली बॉर्डर तक चले गए। रास्ते में जहां कुछ खाने को मिला, वहीं रुकते रहे। 11 मई को उन्हें परिवार की चिंता हुई, तो उन्होंने जमनिया से ट्रेन पकड़कर बक्सर और फिर ऑटो से बलिया लौटे। इसके बाद वे गड़वार क्षेत्र के नारायणपाली पहुंचे और वहां परिचितों से मिलने के बाद उन्हें ज्ञात हुआ कि उनके अपहरण का मुकदमा दर्ज है। इस पर उन्होंने 12 मई को स्वयं पुलिस कार्यालय पहुंचकर पूरी सच्चाई बताई।

फिलहाल पुलिस तिवारी की वापसी के बयान और घटनाक्रम का मिलान कर रही है और अन्य कानूनी प्रक्रिया जारी है।

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