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बरेली: 2003 की मतदाता सूची में नाम वाले नहीं देंगे दस्तावेज, विशेष पुनरीक्षण अभियान शुरू
बरेली। जिला निर्वाचन अधिकारी अविनाश सिंह ने बुधवार शाम कलेक्ट्रेट सभागार में राजनीतिक दलों के साथ बैठक कर निर्वाचक नामावलियों के विशेष प्रगाढ़ पुनरीक्षण (SIR) अभियान की शुरुआत की। बैठक में उन्होंने स्पष्ट किया कि जिन नागरिकों के नाम 2003 की मतदाता सूची में शामिल हैं, उन्हें किसी भी दस्तावेज की आवश्यकता नहीं होगी।
राजनीतिक दलों की भूमिका
जिला निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि पुनरीक्षण कार्य में राजनीतिक दलों की सहभागिता बढ़ाने के लिए बूथ लेवल एजेंट (BLA) की व्यवस्था लागू की गई है। उन्होंने राजनीतिक दलों से आग्रह किया कि वे अपने-अपने विधानसभा क्षेत्रों में बूथवार बीएलए नियुक्त करें। प्रत्येक बीएलए प्रतिदिन 50 भरे हुए फार्म बीएलओ के माध्यम से जमा करा सकेंगे।
मतदाताओं के लिए दिशा-निर्देश
उप जिला निर्वाचन अधिकारी संतोष कुमार सिंह ने बताया कि जिन मतदाताओं का जन्म 1 जुलाई 1987 से पहले हुआ है और जिनका नाम 2003 की मतदाता सूची में शामिल है, उन्हें केवल वही सूची प्रमाण के रूप में मान्य होगी — किसी अतिरिक्त दस्तावेज की जरूरत नहीं होगी।
- जिनका जन्म 1 जुलाई 1987 से पहले हुआ है लेकिन नाम 2003 की सूची में नहीं है, उन्हें जन्म तिथि या जन्म स्थान का प्रमाण देना होगा।
- जिनका जन्म 1 जुलाई 1987 से 2 दिसंबर 2004 के बीच हुआ है, उन्हें स्वयं या अपने माता-पिता की जन्म तिथि/स्थान का प्रमाण प्रस्तुत करना होगा।
- यदि माता या पिता का नाम 2003 की मतदाता सूची में दर्ज है, तो उनके अतिरिक्त दस्तावेज की आवश्यकता नहीं होगी।
- जिनका जन्म 2 फरवरी 2004 के बाद हुआ है, उन्हें अपनी जन्म तिथि और माता या पिता के जन्म संबंधी प्रमाण पत्र उपलब्ध कराने होंगे।
एसआईआर प्रक्रिया के लिए 2003 की मतदाता सूची को आधार वर्ष माना गया है। बैठक में नगर मजिस्ट्रेट अलंकार अग्निहोत्री, एसीएम, एसडीएम सदर और विभिन्न राजनीतिक दलों के प्रतिनिधि उपस्थित रहे।
